राजधानी पटना में बुधवार को रिकॉर्ड 240 कोरोना मृतकों के शव जलाये गए
बिहार में कोरोना मरीजों की मृतकों की संख्या में रोजाना वृद्धि देखी जा रही है। कोरोना वैष्विक महामारी के संकट की इस घड़ी ने लोगों में भय की स्थिति उत्पन्न कर दी है। राजधानी पटना के तीन घाटों पर गत् बुधवार को कोरोना संक्रमित मृतकों के 240 शवों का अंतिम संस्कार किया गया। यह एक दिन अब तक का सबसे बड़ा रिकॉर्ड दर्ज किया गया है।
राजधानी पटना के घाटों पर इसके पूर्व कोरोना मृतकों की इतनी संख्या में अंतिम संस्कार नहीं किए गए थे। पटना के बांस घाट पर सबसे अधिक संख्या में कोरोना मृतकों के शवों का अंतिम संस्कार किया गया। कोरोना संक्रमित मरीजों की मोतों में वृद्धि होने की वजह से घाटों पर शवों की लाइन देखी जा रही है। कोरोना मृतकों के 120 से अधिक शवों को पटना के गुलबी घाट, बांस घाट और खाजेकलां घाट पर जलाया गया है।
राजधानी पटना के बांस घाट पर एंबुलेस की मौजदूगी लगातार बढने से घाट पर एंबुलेंस की लंब कतार बन गई है। जिसे देख कर भय की स्थित बनती जा रही है। ऐसे में डरावना जैसी स्थिति शमशान घाट पर बनती दिख रही है।
हालांकि शवों को अंतिम संस्कार हेतु जिला प्रषासन और नगर निगम द्वारा भी पूरी व्यवस्था की गई है। लेकिन बीते कुछ दिनों से शवों अधिक आ जाने की वजह से व्यवस्था चरमरा गयी है।
शमशान घाटों पर शवों को जलाने के लिए लकड़ी और विधुत शवदाह गृह दोनों का उपयोग किया जा रहा है। निगम ने तय रेट के अनुसार एक निजी एजेंसी को विकल्प के तौर पर शवों को जलाने के लिए सुविधा देने की व्यवस्था की है जिसकी अभी तक शुरूआत नहीं किया गया है। इसे निगम द्वारा जल्द शुरू किए जाने की संभावना है। संवाददाता, ए बी बिहार न्यूज।