अफसरों से आजिज बिहार के मंत्री मदन सहनी बोले, बर्दाश्त नहीं होता, इस्तीफा दे दूंगा
बिहार समाज कल्याण मंत्री और जेडीयू नेता मदन सहनी ने इस्तीफे की पेशकश कर दी है. उन्होंने विभाग के अपर मुख्य सचिव अतुल प्रसाद सर मनमानी का आरोप लगाते हुए इस्तीफा देने का की बात कही है. सहनी ने कहा कि विभाग में मंत्रियों की कोई नहीं सुनता है. सारे नियम-कानून की धज्जियां उड़ाई जा रही हैं .
समाज कल्याण विभाग में सालों से कई अधिकारी जमे हुए हैं और मनमाना काम कर रहे हैं. इसे हटाने की जब बात कही तो विभाग के अपर मुख्य सचिव ने सुनने से इनकार कर दिया. मंत्री ने कहा कि यह सिर्फ मेरी हालत नहीं है बल्कि बिहार में किसी भी मंत्री की कोई अधिकारी नहीं सुनता है. यह सबको पता है कि जून महीने में वैसे पदाधिकारी जो 3 साल से एक ही जगह पर पदस्थापित हैं, उनका ट्रांसफर होता है. हमने उन सभी अधिकारियों की लिस्ट अपर मुख्य सचिव के सामने रखी पर उसको देखने वाला कोई नहीं है.
पिछड़ा होने के कारण सहनी पड़ती है प्रताड़ना
समाज कल्याण मंत्री ने इस्तीफे की पेशकश करते हुए कहां कि पिछड़ा वर्ग के आने के कारण हमें दबाया जाता है और कोई बात नहीं सुनता. अगर मंत्री की भी बात सरकार में नहीं सुनी जाएगी तो ऐसी हालत में मंत्री पद पर रह कर क्या फायदा? मदन सहनी ने आरोप लगाते हुए यह भी कहा यह पहली बार नहीं है. पिछली बार भी ऐसे ही मुझे दबाया गया था, पर सुनने वाला कोई नहीं था. बर्दाश्त की भी एक सीमा होती है. अब इस्तीफे के अलावा मेरे पास और कोई चारा नहीं बचा है.