मुंबई हमले के मास्टरमाइंड हाफिज सईद को पाकिस्तान की एंटी टेरर कोर्ट ने 10 साल की सजा सुनाई है.
मुंबई हमले के मास्टरमाइंड हाफिज सईद को पाकिस्तान की एंटी टेरिरिज्म कोर्ट ने 10 साल की सजा सुनाई है. कोर्ट ने सईद को टेरर फंडिंग से जुड़े दो मामलों में सजा सुनाई है. सईद के साथ जफर इकबाल, याहया मुजाहिद और अब्दुल रहमान मक्की को भी सजा सुनाई गई है.
हाफिज सईद को जुलाई 2019 में गिरफ्तार किया गया था और उसके खिलाफ अब तक चार मामले में आरोप तय हुए हैं. CTD द्वारा जमात-उद-दावा के नेताओं के खिलाफ कुल 41 मामले दर्ज किए गए हैं, जिनमें से 24 का फैसला किया जा चुका है, जबकि बाकी एटीसी अदालतों में लंबित हैं. रिपोर्ट्स के मुताबिक, सईद पर आतंक वित्तपोषण, धनशोधन, अवैध रूप से जमीन हड़पने के मामले चल रहे हैं.
अगस्त में एंटी टेरिरिज्म कोर्ट ने कुख्यात आतंकी हाफिज सईद के करीबी और जमात-उद-दावा के 3 बड़े नेताओं को जेल की सजा सुनाई थी. लाहौर के प्रोफेसर मलिक जफर इकबाल और शेखपुरा के अब्दुल सलाम को 16-16 साल की जेल की सजा सुनाई थी. दोनों को कई अलग-अलग मामलों में 16-16 साल की जेल की सजा मिली है.
गौरतलब है कि हाफिज सईद आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा का संस्थापक है. पाकिस्तान में वो जमात-उद-दावा नामक संगठन चलाता है. सईद 2008 में मुंबई में हुए बम धमाकों का मास्टरमाइंड है. भारत को लंबे वक्त से हाफिज सईद की तलाश है. अमेरिका ने सईद के सिर पर एक करोड़ डॉलर ( करीब 70 करोड़) का इनाम घोषित किया था.
इंटरपोल का रेड कॉर्नर नोटिस
भारत के कहने पर इंटरपोल ने हाफिज सईद के खिलाफ 25 अगस्त 2009 को रोड कॉर्नर नोटिस जारी किया था, लेकिन वो पाकिस्तान में खुलेआम घूमता दिखाई देता था. 2017 की शुरुआत में पाकिस्तान सरकार ने जमात-उद-दावा के खिलाफ कार्रवाई शुरू की. इस दौरान उसे नजरबंद किया गया. बाद में सईद को नवंबर 2017 में रिहा कर दिया गया था.
जुलाई 2018 में पाकिस्तान को एफएटीएफ की ग्रे सूची में डाल दिया गया था. इसके बाद हाफिज सईद को 17 जुलाई 2019 में काउंटर टेररिजम डिपार्टमेंट (CTD) द्वारा गिरफ्तार किया गया था.