बिहार में 4638 असिस्टेंट प्रोफेसर की बहाली प्रक्रिया पर हाईकोर्ट ने माँगा जवाब
बिहार के विश्वविद्यालयों में असिस्टेंट प्रोफेसर की बहाली प्रक्रिया को चुनौती देने वाली अर्जी पर पटना हाईकोर्ट ने चांसलर कार्यालय सहित विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) तथा राज्य सरकार से जवाब-तलब किया है।
कोर्ट ने 21 दिसम्बर तक जवाबी हलफनामा दायर कर स्थिति स्पष्ट करने का आदेश दिया है।
खंडपीठ ने नियुक्ति चयन प्रक्रिया को बताया विवादग्रस्त
बुधवार को मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति संजय करोल तथा न्यायमूर्ति एस कुमार की खंडपीठ ने जय प्रकाश नारायण की ओर से दायर अर्जी पर सुनवाई की। कोर्ट को बताया गया कि 4638 असिस्टेंट प्रोफेसर की बहाली के लिए गत 21 सितंबर को विज्ञापन प्रकाशित किया गया था। कोर्ट को यह भी बताया गया कि नियुक्ति के लिए अपनाई गई चयन प्रक्रिया अपने आप में विवादग्रस्त है। उनका कहना था कि 2018 के यूनिवर्सिटी ग्रांट कमीशन के प्रावधानों का पालन नहीं किया गया है।
परीक्षा के बिना बहाली करना असंवैधानिक
बगैर परीक्षा के असिस्टेंट प्रोफेसर की बहाली की प्रक्रिया भारतीय संविधान के अनुच्छेद 14 का उल्लंघन हैं। अन्य पदों पर बहाली के लिए परीक्षा ली जाती है लेकिन असिस्टेंट प्रोफेसर जैसे महत्वपूर्ण पदों पर बहाली के लिए परीक्षा का प्रावधान नहीं किया गया है।
मामले पर अगली सुनवाई की तारीख 21 दिसंबर तय की गई है।
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