पप्पू यादव को नहीं मिलेगा कांग्रेस का सिंबल, पूर्णिया सीट को लेकर सब कुछ साफ

लोकसभा चुनाव को लेकर बिहार की राजनीति गर्म है I इस चुनाव में अब तक सबसे हॉट सीट पूर्णिया बनी हुई है I महागठबंधन में सीट बंटवारे के बाद यह सीट आरजेडी के कोटे में भले ही चली गई हो, लेकिन हाल ही में कांग्रेस की सदस्यता ग्रहण करने वाले पूर्व सांसद पप्पू यादव ने पूर्णिया से चुनावी मैदान में उतरने की घोषणा कर महागठबंधन की मुश्किलें बढ़ा दी हैं I उन्होंने ऐलान किया था कि कांग्रेस के टिकट से ही नामांकन करेंगे I
आपको बता दें पप्पू यादव के पूर्णिया से नामांकन भरने के पीछे भी एक पेंच है। इसमें पेंच ये है कि INDIA गठबंधन की सदस्य पार्टी RJD पहले ही इस सीट से अपना उम्मीदवार घोषित कर चुकी है। पूर्णिया सीट से आरजेडी ने बीमा भारती को उम्मीदवार बनाया है। पूर्णिया सीट अब इंडी गठबंधन के लिए बड़ा सिरदर्द साबित हो रही है। जहां RJD ने कांग्रेस को पूर्णिया सीट देने से मना कर दिया, वहीं पप्पू यादव पूर्णिया सीट से लड़ने पर अड़े हुए हैं। पप्पू यादव कांग्रेस से सिंबल मांग रहे हैं। पप्पू का कहना है कि अगर उन्हें सिंबल नहीं मिला तो पूर्णिया से निर्दलीय भी चुनाव लड़ सकते हैं।
वही पप्पू यादव पूर्णिया लोकसभा सीट के लिए इस कदर बेताब हैं कि हाल ही में जिस कांग्रेस को ज्वाइन किया है, उसी कांग्रेस और इंडी गठबंधन से वह सीधे बगावत करने पर उतर आए हैं और निर्दलीय चुनाव लड़ने की बात कह रहे हैं। पप्पू यादव को पूर्णिया सीट से निर्दलीय जीतने का कॉन्फिडेंस यूं ही नहीं हैं, बल्कि इसके पीछे उनका पूर्णिया से निर्दलीय जीतने का ट्रैक रिकॉर्ड भी है। साल 1991 में वह निर्दलीय लड़े और चुनाव जीते। इसके बाद 1996 में वह सपा के टिकट पर लड़े और सांसद बने। 1999 में एक बार फिर पप्पू यादव निर्दलीय लड़े और जीते भी। इसके अलावा भी MY समीकरण पूर्णिया में सबसे ज्यादा हिट साबित होता है।