पीएम नरेंद्र मोदी ने कोरोना को सदी का सबसे बड़ा संकट करार दिया, यह विश्व के लिए चुनौती
पीएम नरेंद्र मोदी ने सभी मंत्रियों को अपने क्षेत्र के अंतर्गत लोगों से संपर्क में रहने व मदद करने के निर्देश दिए है। उन्होंने कहा कि स्थानीय स्तर पर तुरंत मुद्दों को सुनिष्चित कर इसका फौरन समाधान किया जाना चाहिए। उन्होंने कोरोना को सदी का सबसे बड़ा संकट करार देते हुए कहा कि कोरोना विश्व के लिए चुनौती है।
कोरोना संक्रमण में तेजी से वृद्धि के चलते ऑक्सीजन की कमी का सामना देष में करना पड़ रहा है। ऑक्सीजन की कमी के बीच पीएम ने मंत्रिपरिषद की बैठक अध्यक्षता की है। कोरोना वैष्विक महामारी से उत्पन्न हुई स्थिति को लेकर इस बैठक के दौरान चर्चा की गई। मंत्रिपरिषद की बैठक में केंद्र व राज्य सरकार तथा देषवासियों के कोरोना महामारी के खिलाफ किए गए प्रयासों के आधार पर टीम इंडिया के दृष्टिकोण पर प्रकाश डाला गया। बैठक वीडियों कांफ्रेसिंग के जरिये किया गया।
बैंठक में केंद्र सरकार की ओर से राज्य के साथ तालमेल, ऑक्सीजन उत्पादन व ऑक्सीजन की आपूर्ति, आवष्यक सुविधाओं की उपलब्धता को बढ़ाने से संबंधिति उपायों को लेकर चर्चा की गयी। इसके अलावा अतिरिक्त खाधान्न मई व जून में, वित्तीय सहायता के रूप में जन धन खाता धारकों की कमजोर आबादी की सहायर पर बैठक के दौरान चर्चा की गयी।
मंत्रिपरिषद बैठक में विष्वास व्यक्त कि गया कि कोरोना वायरस को देश हराएगा और देश फिर आगे बढ़ेगा। पीएम मोदी की बैठक के दरम्यान् दवाई भी और कड़ाई भी पर विशेष बल दिया गया। कोरोना के गाइडलाइन्स के तहत छह फिट की सोशल डिस्डेंसिंग, मास्क को आवष्यक रूप से पहनना और बार बार नियमित रूप से हाथ धोते रहने पर जोर दिया गया है। मंत्रिपरिषद ने जानकारी दी कि देश में कोरोना टीकाकरण पंद्रह करोड़ से भी अधिक लोगों का किया जा चुका है। नीति आयोग के सदस्य वीके पॉल ने मंत्रिपरिषद बैंठक के दौरान कोरोना प्रबंधन के बारे में जानकारी दी है। देश में ऑक्सीज एवं दवाइयों की उपलब्धता के संबंध में केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल एवं मनसुख मंडाविया ने जानकारी दी। पीएम नरेंद्र मोदी की मंत्रिपरिषद की इस बैठक के दौरान कैबिनेट सचिव एवं कई वरिष्ठ अधिकारीगण उपस्थित थे। संवाददाता, ए बी बिहार न्यूज।