बिहार में जातीय जनगणना पर कैबिनेट की मुहर लग गई है। राज्य सरकार अपने संसाधन से जातीय गणना कराएगी। इसको कराने में 500 करोड़ रुपये का खर्च आने का अनुमान लगाया गया है I जिसका प्रावधान बिहार आकस्मिकता निधि से किया जाएगा। अगले साल 2023 के फरवरी महीने तक गणना पूरी करने का लक्ष्य रखा […]Read More