दुनिया की पांच सबसे ठंडी और खुबसूरत जगह
भारत में पारा 15-20 डिग्री सेल्सियस नीचे क्या चला जाए, लोग ठंड के मारे कांपना शुरू कर देते हैं| यहां 2-3 डिग्री सेल्सियस तापमान का मतलब ठिठुरने वाली सर्दी होती है| जबकि दुनिया में ऐसी कई जगह हैं, जहां इतनी ठंड पड़ती है कि लोग पानी पीने के लिए भी बर्फ पिघलाते हैं| इसके बावजूद लोगों ने ऐसे परिवेश में ढलना और जीना सीख लिया है| आइए आज आपको दुनिया की 5 सबसे ठंडी जगहों के बारे में बताते हैं….
वोस्टोक वैदर स्टेशन, अंटार्कटिका- अंटार्कटिका स्थित रशिया का ये रिसर्च स्टेशन दुनिया की सबसे ठंडी जगहों में से एक है| 21 जुलाई 1983 को यहां तापमान -89.2 डिग्री सेल्सियस तक गया था| गर्मी के मौसम में भी यहां हालात में ज्यादा बदलाव नहीं होता है| उस वक्त भी तापमान लगभग -32 डिग्री टेंपरेचर पर रहता है|
माउंट डेनाली, अलास्का- समुद्र तल से 6,190 मीटर ऊंचा माउंड डेनाली उत्तरी अमेरिका का सबसे ऊंचा पर्वत है|साल 2003 में यहां तापमान -83 डिग्री सेल्सियस गया था| इस पर्वत की चोटी साल के 12 महीने बर्फ और ग्लेशियर से ढकी रहती है|
इंटरनेशनल फॉल्स, मिनेसोटा, अमेरिका- इंटरनेशनल फॉल्स, मिनेसोटा (अमेरिका) की सबसे ठंडी जगह है| अपने न्यूनतम तापमान के चलते ये जगह ‘आइसबॉक्स ऑफ द नेशन’ का खिताब भी जीत चुकी है| इंटरनेशनल फॉल्स ने आइसबॉक्स फेस्टिवल की मेजबानी करते हुए फ्रोजन टर्की बॉलिंग, स्नो स्कल्प्टिंग (बर्फ से मूर्तियां गढ़ना) और फायरवर्क्स में ये खिताब अपने नाम किया था|
वेरखोयांस्क, रूस- उत्तरी रूस में स्थित वेरखोयांस्क भी बेहद ठंडी जगहों में से एक है| जनवरी में यहां औसत तापमान -48 डिग्री सेल्सियस रहता है| आमतौर पर पारा अक्टूबर से अप्रैल के बीच शून्य के नीचे ही रहता है|गर्मियों के मौसम में थोड़ी राहत होती है, जब पारा करीब 30 डिग्री सेल्सियस के पास होता है|
उलानबाटार मंगोलिया- मंगोलिया की राजधानी उलानबटार दुनिया के सबसे ठंडे इलाकों में शुमार है| यहां तापमान कभी -16 डिग्री सेल्सियस से ऊपर नहीं जाता है| मंगोलिया की तकरीबन आधी आबादी उलानबाटार में ही रहती है| यहां के प्रसिद्ध धार्मिक स्थल और म्यूजियम देखने टूरिस्ट दूर-दूर से आते हैं|