निर्वाचित जनप्रतिनिधि की उपेक्षा से ग्रामीण क्षेत्रों के 80% आबादी का न्यायिक एवं विकासात्मक कार्य हो रहा बाधित : जय सिंह राठौड़

 निर्वाचित जनप्रतिनिधि की उपेक्षा से ग्रामीण क्षेत्रों के 80% आबादी का न्यायिक एवं विकासात्मक कार्य हो रहा बाधित : जय सिंह राठौड़

बिहार प्रदेश पंच सरपंच संघ ने आज अपने 11 सूत्री मांगों को लेकर पटना के गर्दनीबाग स्थित धरना स्थल पर एकदिवसीय धरना दिया। इस अवसर पर संघ के संरक्षक जय सिंह राठौड़ ने कहा कि सूबे के ग्राम कचहरी एवं इसके निर्वाचित जनप्रतिनिधि उप सरपंच, पंच, सरपंच, प्रहरी सहित नियोजित कर्मी वर्ष 2006 से घोर उपेक्षित हैं। इससे राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का सपना साकार करने में प्रतिनिधियों एवं कर्मियों को काफी असुविधाएं हो रही हैं तथा राज्य के ग्रामीण क्षेत्रों में रहनेवाले लगभग 80% आबादी का न्यायिक एवं विकासात्मक कार्य बाधित हो रहा है।

धरना को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि बिहार के सभी ग्राम कचहरी को अभिलंब निम्नांकित सभी सेवाएं सुविधा उपलब्ध कराई जाए ताकि सुबे के सभी 123044 सरपंच, पंच, उप सरपंच, जनप्रतिनिधि, 8387 सचिव, 8387 न्याय मित्र एवं 16774 ग्राम कचहरी प्रहरी, कुल 156592 ग्राम कचहरी प्रतिनिधि तथा कर्मी संयुक्त रूप से माननीय अनुमंडल व्यवहार उच्च न्यायालय आदि का बोझ कम करते हुए बिहार पंचायती राज को देश ही नहीं विश्व स्तर पर न्याय के साथ विकास, विश्वास की अवधारणा को प्रमाणित कर अग्रणी भूमिका स्थापित कर सकेगी।

वहीं, संघ के प्रदेश अध्यक्ष अमोद कुमार निराला ने कहा कि हम संघ के माँग के समर्थन में ग्राम कचहरी को सर्व सुविधा सम्पन्न बनाने हेतु, संघ के संघर्ष में अपना स्वर को मिलाता हूँ, साथ ही यह घोषणा करता हूँ, कि आपके समर्थन में सड़क से लेकर सदन तक संघर्ष में पूरी तन्मयता से आपके साथ मौजूद रहूंगा।

ज्ञात हो कि माननीय मुख्यमंत्री जी द्वारा दिनांक 13 दिसंबर 2013 को बिहार विधानमंडल के दोनों सदनों एवं 22 जुलाई 2016 को वेबकास्टिंग के माध्यम से दिए गए वक्तव्य तथा डीजीपी श्री अभयानंद जी द्वारा निर्गत आदेश ज्ञापांक 3/अभियान दिनांक 2 जनवरी 2012 एवं संघ शिष्टमंडल से तत्कालीन पंचायती मंत्री डॉ भीम सिंह जी सहित निदेशक महोदय के उपस्थिति में हुई। 19 अगस्त 2013 की वार्ता व निर्गत आदेश निर्देशों का आज 9 वर्ष बाद भी अनुपालन नहीं हो सका है।

उक्त आदेश निर्देशों का अनुपालन प्रखंड, पंचायत, थाना, जिला स्तर के अधिकारी, पदाधिकारी, कर्मचारी, सिपाही यहां तक कि चौकीदार भी करने से इनकार करते हैं तथा गलत टिप्पणी करते हैं। मौके पर पर मनोज सिंह, पुष्पेंद्र ठाकुर, सुनील तिवारी, वशिष्ठ निशाद, मोहन मिश्र समेत सभी ज़िलों के जिलाध्यक्ष, प्रखंड अध्यक्ष और हज़ारों की संख्या में पंच सरपंच मौजूद थे।

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